
जीवन एक ही है,जश्न मनाइए जिंदगी का।
जीवन में हंसने मुस्कुराने की सौगात मिली।
सौगात ना कम होती है,खर्च करने से।
ना घटती है,ना बढ़ती है जिंदगी में।
हर उपलब्धि का जश्न मनाइए मौका है।
चाहे छोटा या बड़ा मौका आया है।
तो बॉस जश्न तो बनता है।
मत छोड़ो,मत टालो,कल मनाएंगे।
मौका जब आया तभी ही मनाएंगे।
यह न सोचो जब मौका बड़ा होगा।
यह ना सोचो जब मर्जी का होगा।
यह ना सोचो जब वह सब मिलेगा।
तब ही जश्न जिंदगी का मनेगा।
ऐसा नहीं होता,जब सब मर्जी का हो।
ऐसा नहीं होता,जब मुश्किल ना आए।
ऐसा नहीं होता,जब दुख दर्द कभी ना आए।
अकारण जश्न ए जिंदगी का मनाना सीखे।
जश्न मनाने की इच्छा भी अंदर से आएगी।
मनाओगे तो परेशानियों को उड़ा कर ले जाएगी।
एक उमंग है,जिंदा है,खुशी की वजह,
जीवन एक है जश्न मनाइए जिंदगी का।
सोचो जश्न की वजह क्या है?
क्या माने?
रोज सुबह यह सोचे एक दिन और मिल गया।
जीने के लिए,मकसद पूरे करने के लिए।
अपनों के साथ प्यार से जीने का,
जिंदगी की खूबसूरती को समझने का।
रात को सोचें वजह जिंदगी के जश्न की,
एक दिन और जीया खुशी-खुशी,
किसी को खुश किया,किसी का दर्द दूर किया।
खुशियों के जश्न मनाने का वक्त है।
जीवन एक ही है,जश्न मनाओ जिंदगी का।
मैं तैयार हूँ,अपनी जिंदगी के जश्न के लिए।
क्या आप तैयार हैं?
जश्न के लिए,
एक मुस्कुराहट के साथ जश्न की तैयारी कीजिए।
देखिए कितनी सारी खुशियां,
आपके पीछे-पीछे चली आ रही है।
कम से कम गमों को पीछे धकेल,
एक बार खुलकर हँस तो लीजिए।
जश्न मन गया जिंदगी का——–